Shri Ashok Gehlot

Former Chief Minister of Rajasthan, MLA from Sardarpura

चौथे बजट से भी निराशा, महंगाई से कोई राहत नहीं, रिफाइनरी, मेट्रो, आदिवासी रेल परियोजना व , मेमोकोच फैक्ट्री की फिर अनदेखी - गहलोत

दिनांक
08/03/2017
स्थान
जयपुर


जयपुर, 8 मार्च। पूर्व मुख्यमंत्री श्री अशोक गहलोत ने कहा है कि भाजपा सरकार का चौथा बजट लगातार जनता में निराशा पैदा करने वाला साबित होगा। चूंकि पिछले चुनाव में जो संकल्प पत्र जारी किया गया था, सरकार उसको भूल बैठी है। 15 लाख नौकरियां, 20 हजार किलोमीटर सड़क, छात्रों, युवाओं, किसानों, एससी/एसटी, माईनोरिटी, एसबीसी, आर्थिक पिछड़ों आदि के लिए कई वादे किये गये थे उनको पूरा नहीं किया गया। इन वर्गों के लिए हमारी सरकार ने देवनारायण योजना की तर्ज पर जो विशेष प्रावधान किये थे उनका कोई अता-पता ही नहीं है।

श्री गहलोत ने कहा कि मुख्यमंत्री को जवाब देना चाहिए कि क्या राजस्थान की महत्वाकांक्षी परियोजना रिफाइनरी, जयपुर मेट्रो फेज-2, आदिवासी क्षेत्र की डूंगरपुर-बांसवाडा-रतलाम रेल लाइन और भीलवाडा में मेमोकोच फैक्ट्री बनने की संभावना समाप्त हो गई हैं। इस बजट में इनके बारे में कोई घोषणा नहीं की गई, जबकि राजस्थान के आधारभूत ढांचे में ये योजनाएं मील का पत्थर साबित होती।

पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि परबन सिंचाई परियोजना का शिलान्यास पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार के समय किया गया था लेकिन यह सरकार बार-बार बजट में कोरी घोषणाएं किये जा रही है, पता नहीं परियोजना कब पूरी करेगी।

श्री गहलोत ने कहा कि श्रीमती वसुंधरा राजे को जनता ने दूसरी बार मुख्यमंत्री बनने का अवसर दिया है। प्रदेशवासी जानना चाहते हैं कि उन्होंने ऐसा क्या कसूर किया है कि कुशासन और लापरवाही के चलते यह सरकार निकम्मी और नाकारा साबित हो रही है। उन्होंने कहा कि जबसे केन्द्र में मोदी सरकार आई है तब से केन्द्र एवं राज्य सरकार बड़े-बड़े जुमले जैसे स्किल डवलपमेंट, स्मार्ट सिटी, मेक इन इंडिया, डिजीटल इंडिया, स्किल इंडिया आदि में ही उलझ कर रह गई है, इनका जमीन पर आम लोगों को कोई लाभ नहीं मिल रहा है। मुख्यमंत्री को चाहिए कि वे हवाई बातें करना बंद करे और इन घोषणाओं को जमीन पर उतारे।

पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि महंगाई को प्रमुख मुद्दा बनाकर सत्ता में आई भाजपा सरकार को महंगाई की कोई चिंता नहीं है। रसोई गैस के दामों में भारी वृद्धि की गई है। भाजपा सरकार ने महंगाई से राहत देने के लिए बजट में कोई कदम नहीं उठाया है जबकि पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार के समय एक मात्र राजस्थान ऐसा प्रदेश था जिसने रसोई गैस पर प्रति सिलेण्डर सहित पेट्रोल एवं डीजल पर लगभग 400 करोड़ रुपये की अतिरिक्त सब्सिडी दी थी।
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